उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में बीआरडी मेडिकल कॉलेज अस्पताल में बच्चों की मौत का सिलसिला जारी है। यहां बालरोग विभाग में पिछले 72 घंटों में 61 बच्चों ने दम तोड़ दिया। इनमें से 42 बच्चों की मौत पिछले 48 घंटों के दौरान हुई।
अस्पताल अधिकारियों के मुताबिक, 27, 28 और 29 अगस्त को अस्पताल में 61 बच्चों की मौत हुई। इनमें इंसेफलाइटिस वार्ड में 11 बच्चों, नवजात शिशु गहन चिकित्सा कक्ष में 25, वहीं शिशु चिकित्सा वार्ड में 25 बच्चों की मौत हुई।
अधिकारियों के मुताबिक, ये बच्चे इंसेफलाइटिस के अलावा नवजात बच्चों को होने वाली न्यूमोनिया, सेप्सिस जैसी बीमारियों से पीड़ित थे। अधिकारियों के अनुसार, आसपास के इलाके के लोग अपने बच्चों को अति गंभीर होने पर इलाज के लिए इसी अस्पताल लेकर आते हैं। इस वजह से अस्पताल पर भी काफी दबाव रहता है।
वहीं स्थानीय डॉक्टरों के मुताबिक, गोरखपुर और इसके आसपास के इलाकों में भारी बारिश और बाढ़ को देखते हुए आने वाले दिनों में इंसेफलाइटिस का प्रकोप बढ़ने की आशंका है।
गौरतलब है कि इस महीने की शुरुआत में बीआरडी मेडिकल कॉलेज में इंसेफलाइटिस से पीड़ित 60 से ज्यादा बच्चों की मौत का मामला सामने आया था। इस मामले में ऑक्सीजन की कमी से दर्जनों बच्चों की मौत के आरोप लगे थे। इस मामले में विपक्षी पार्टियों ने राज्य सरकार पर जमकर हल्ला बोला था, हालांकि यूपी सरकार ने ऑक्सीजन की कमी से इनकार किया था।
इस मामले में यूपी के डीजी हेल्थ केके गुप्ता की तरफ से इस मामले में पुलिस को तहरीर दी गई थी। इस संबंध में दर्ज एफआईआर में मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल डॉक्टर राजीव मिश्रा, उनकी पत्नी डॉ। पूर्णिमा शुक्ला, डॉ। कफील खान, डॉ। सतीश समेत कुल 9 लोगों पर 7 धाराओं में केस दर्ज किया गया है।
यूपी एसटीएफ ने गोरखपुर बीआरडी मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल राजीव मिश्रा और उनकी पत्नी पूर्णिमा शुक्ला को मंगलवार को कानपुर से गिरफ्तार कर लिया है। गोरखपुर के बीआरडी अस्पताल में हुई बच्चों की मौत के बाद दोनों पिछले काफी वक्त से फरार चल रहे थे।
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