देशभर में गाय और बीफ से जुड़ी हिंसा में मुसलमानों को मारे-पीटे जाने के बीच उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद से ऐसी खबर सामने आई है जो कई सामाजिक पूर्वाग्रहों को तोड़ती है। यूपी के मुरादाबाद जिले के बिलारी नगरपालिका में रविवार को एक गाय घास चरते-चरते एक गड्ढे में जा गिरी।
गाय काफी संघर्ष के बाद भी गड्ढे से नहीं निकल पा रही थी। गड्ढे से निकलने के लिए संघर्षरत गाय पर स्थानीय लोगों की नजर पड़ी तो उन्होंने उसकी मदद की। गाय जहां गड्ढे में फंसी थी वो इलाका मुस्लिम बहुल है और आसपास रहने वाले मुसलमानों ने ही गाय की सहायता की। वहीं गुजरात में एक मुस्लिम युवक ने गोरक्षा का संदेश फैलाने के लिए 20 जुलाई से उपवास रखने की घोषणा की है।
27 वर्षीय जबर जाट कच्छ के नखतराना कस्बे के रहने वाले हैं। जाट ने कहा है कि वो भुज के जिलाधिकारी के दफ्तर के बाहर 48 घंटे तक उपवास रखेंगे। जाट ने जिलाधिकारी को पत्र लिखकर मांग की है कि गायों के लिए कच्छ जिले के हर तालुका में गायों के लिए चारागाह की व्यवस्था करें। जाट के पास 16 गायें हैं। जाट ये भी चाहते हैं कि सरकार बैलों की खरीद पर छूट दे और सभी गौशालाओं पर 50 फीसदी सब्सिडी दे।
गाय से जुड़ी हिंसा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की चुप्पी की विपक्ष आलोचना करता रहा है। जून के आखिरी हफ्ते में पीएम मोदी ने गुजरात में कहा था कि गौरक्षा के नाम पर हत्या को स्वीकार नहीं किया जा सकता और किसी को अपने हाथ में कानून लेने का अधिकार नहीं है। इससे पहले भी पीएम मोदी कह चुके हैं कि कुछ लोग गाय की रक्षा नाम पर अपनी दुकान चला रहे हैं और ऐसे लोग असामाजिक तत्व हैं।