असम में फिर से आई बाढ़ के कारण 481 वर्गकिमी क्षेत्र में फैले काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान का लगभग 80 फीसदी हिस्सा पानी में डूब गया। बाढ़ के कारण 7 गैंडे समेत 140 प्राणी मौत के मुंह में समा गए। केएनपी संभागीय वन अधिकारी रोहिणी बल्लव सैकिया ने बताया कि 10 अगस्त के बाद से सात गैंडे, 122 हिरण, दो हाथी, तीन जंगली सूअर समेत कई जानवरों की मौत हो गई। उन्होंने बताया कि यूनेस्को के विश्व विरासत स्थल केएनपी में 10 अगस्त को डिफ्लू नदी के जरिए ब्रह्मपुत्र नदी का पानी घुस गया था।
असम में पिछले एक महीने में दूसरी बार आई बाढ़ में मरनेवालों की तादाद 49 हो चुकी है। इस साल बाढ़ से असम में अबतक 133 लोगों की मौत हो चुकी है। 24 जिलों के करीब 32 लाख लोग बाढ़ से प्रभावित हैं। धुबरी और मोरीगांव सबसे ज्यादा प्रभावित जिले हैं। यहां करीब 14 लाख लोग बाढ़ से प्रभावित हैं। 2,584 गांव पानी में डूबे हुए हैं। वहीं, 1।67 लाख हेक्टेयर फसल खराब हो चुकी है। ब्रह्मपुत्र समेत कई नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं।