दिल्ली के एक जाने-माने स्कूल को मनमाने ढंग से फीस बढ़ाना बहुत भारी पड़ गया। राजधानी दिल्ली के नामी स्कूल डीपीएस रोहिणी के खिलाफ़ दिल्ली सरकार ने बड़ी कार्यवाही की है। लगातार मनमाने ढंग से फीस वृद्धि के आरोप में दिल्ली शिक्षा निदेशालय (डीओई) ने डीपीएस रोहिणी स्कूल की मान्यता को निलंबित कर दिया है। इसका असर वर्तमान सत्र के छात्रों पर नहीं पड़ेगा। लेकिन 2023-24 के शैक्षणिक सत्र में किसी भी छात्र का प्रवेश नहीं होगा।
इस पूरे मामले पर अभी तक स्कूल की तरफ से कोई प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है। वहीं निदेशालय द्वारा दिए आदेश में यह कहा गया है कि स्कूल ने न सिर्फ मनमाने तरीके से स्कूल की फीस को बढ़ाकर उसे जमा किया बल्कि वार्षिक स्कूल फीस पर 15% की कटौती भी नहीं की। जिस पर डीओई ने स्कूल को बड़ी हुई फीस को वापस लेने और जमा की गई फीस संरचना के ऊपर ली गई राशि को वापस करने का भी निर्देश दिया गया है। जिस पर स्कूल की प्रतिक्रिया असंतोषजनक थी।
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मंगलवार को जारी किए आदेश में डीओई ने कहा कि स्कूल के अधिकारी 2021-22 के दौरान बढ़ी हुई फीस वसूल कर उच्च न्यायालय के निर्देशों का पालन नहीं कर रहे थे। साथ ही वह 2020-21 के लिए बड़ी फीस को लेकर विभिन्न अदालती आदेश का उल्लंघन भी कर रहे थे। कार्रवाई के बाद निदेशालय ने कहा कि फीस बढ़ोतरी की शिकायतों के बाद दिल्ली सरकार के शिक्षा निदेशालय ने डीपीएस को एक नोटिस जारी कर दिया था। जिसका जवाब संतोषजनक नहीं था। जिसके पश्चात शिक्षा निदेशालय ने स्कूल की मान्यता को रद्द करने का आदेश जारी कर दिया। स्कूल को 2022-23 तक के सत्र को पूरा करने की अनुमति दी गई है ताकि इसका असर अभी पढ़ाई कर रहे बच्चों पर ना पड़े।
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सेशन खत्म होने के पश्चात इन बच्चों को पेरेंट्स की सहमति से डीपीएस सोसाइटी के दूसरे स्कूल या करीब के सरकारी स्कूलों में भर्ती करवाया जाएगा। यदि पेरेंट्स ने ज्यादा फीस का भुगतान कर दिया है, तो डीपीएस को यह राशि जल्द-से-जल्द पेरेंट्स को लौटानी होगी। साथ ही डीपीएस रोहिणी के टीचिंग और नॉन-टीचिंग स्टाफ को भी डीपीएस सोसाइटी के अन्य संस्थानों में एडजस्ट करना होगा।