Vastu Tips: घर में अगर हर वक्त कोई ना कोई रहता है बीमार तो हो जाएं सावधान! ये वास्तुदोष है कारण
Vastu Dosh: किसी व्यक्ति के रोगी होने के पीछे उसके जन्मजात ग्रह अधिक प्रभावी भूमिका निभाते हैं, लेकिन वास्तु दोष का हस्तक्षेप भी इनमें कम नहीं होता। आमतौर पर यह देखने को मिलता है कि घरों के निर्माण और वहां के इंटीरियर में तो लोग ना जाने कितना पैसा खर्च करते हैं, परंतु वहां के वास्तुदोष के कारण घर में रहने वाले लोग तमाम तरह की बीमारियों से ग्रस्त रहते हैं। इन सभी बीमारियों से छुटकारा पाने के लिए परिवार के सदस्य लाखों रुपये खर्च करते हैं। लेकिन वह अपने घर के वास्तुदोष को दूर नहीं करते हैं जिसकी वजह से सदस्यों को बिमारियों से मुक्ति नहीं मिलती। इन रोगों का इलाज कराने के साथ ही जब वह घर की इस वास्तुदोष का भी इलाज कराते हैं उसके बाद ही सदस्यों को बिमारियों से मुक्ति के लिए कराए जा रहे इलाज से लाभ मिलता है।
घर के वास्तुदोष-
घर के वास्तुदोष में सबसे बड़ी समस्या रसोई घर को लेकर आती हैं यदि रसोई दक्षिण-पश्चिम दिशा में हो तो सदस्यों को अपच और गुर्दे संबंधी रोग होने की संभावना बनी रहती हैं। जबकि अगर रसोई उत्तर-पश्चिम दिशा में स्थित हो तो जलोदर नामक रोग हो सकता है।
रसोईघर और स्नानघर-
घर के रसोईघर, स्नानघर और पूजा घर के साथ घर की सीढ़ियों का भी महत्वपूर्ण स्थान होता है। यदि पूर्व-उत्तर दिशा में ऊपर चढ़ने की सीढियां हैं, तो घर के सदस्यों को मानसिक तनाव बना रहता है। वहीं व्यक्ति उलझन, बीपी, डिप्रेशन जैसी समस्याओं से घिरा रहता है। वहीं अगर सीढ़ियां पूर्व और दक्षिण दिशा पर हो तो गुप्तांगों और मूत्र संबंधी समस्या हो सकती हैं।
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जल साधन-
अगर पूर्व दिशा में स्थित जल साधन होने पर डिहाइड्रेशन, डायरिया, जलोदर, स्त्रियों में श्वेत प्रदर जैसे रोगों से व्यक्ति परेशान हो सकता है। वहीं पश्चिम दिशा में जल साधन थायराइड से संबंधित कष्ट दे सकता है। जबकि उत्तर पूर्व दिशा में भूमिगत जल संसाधन धनदायक होते हैं और ये संतान को भी सुंदर तथा निरोगी बनाने में मदद करते हैं।
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