आगामी लोकसभा चुनावों को लेकर सभी पार्टियां अपनी जी-जान से चुनाव की तैयारियों में लगी हुई है। इन्ही चुनावों के चलते सपा-बसपा ने गठबंधन कर लिया तो वही पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की अगुवाई में शनिवार को 20 दलों के नेता बीजेपी के खिलाफ कोलकाता में साझी लड़ाई का ऐलान किया। बता दे कि ममता बनर्जी ने कहा है कि इस बार बीजेपी 125 सीटों के भीतर सिमट जाएगी। 41 साल बाद कोलकाता में विपक्ष का इतना बड़ा जमावड़ा लग रहा है। बीजेपी ने इसे विपक्ष का डर कहा है। साल 1977 में ज्योति बसु ने यहीं से कांग्रेस के खिलाफ बिगुल बजाया था। यह रैली यहां ऐतिहासिक ब्रिगेड परेड मैदान में होगी।
खबरों के अनुसार, उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के इस रैली में आने के, जबकि बसपा की ओर से पार्टी के वरिष्ठ नेता सतीश चंद्र मिश्रा के शिरकत करने की संभावना है। रालोद के अजीत सिंह और जयंत चौधरी भी मौजूद रहेंगे। यह पार्टी पश्चिमी उत्तर प्रदेश में एक महत्वपूर्ण राजनीतिक ताकत है। वह भी सपा-बसपा गठबंधन में शामिल होने के लिए बातचीत कर रही है। वहीं, रैली में कांग्रेस का प्रतिनिधित्व पार्टी के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे करेंगे।
वही उत्तर प्रदेश में नया चुनावी समीकरण बनाने वाली सपा और बसपा सहित सभी बड़ी विपक्षी पार्टियों की इस रैली में मौजूदगी काफी मायने रखती है। हालांकि, सपा उपाध्यक्ष किरणमय नंदा ने कहा कि यह भाजपा विरोधी रैली है। इसलिए कई विपक्षी दल इसमें भाग ले रहे हैं और हम भी इसका हिस्सा हैं। इसका उत्तर प्रदेश की राजनीति से कोई लेना-देना नहीं है क्योंकि वह बिल्कुल ही एक अलग मोर्चा है।
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आगामी लोकसभा चुनावों को लेकर सभी पार्टियां अपनी जी-जान से चुनाव की तैयारियों में लगी हुई है। इन्ही चुनावों के चलते सपा-बसपा ने गठबंधन कर लिया तो वही पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की अगुवाई में शनिवार को 20 दलों के नेता बीजेपी के खिलाफ कोलकाता में साझी लड़ाई का ऐलान किया। बता दे कि ममता बनर्जी ने कहा है कि इस बार बीजेपी 125 सीटों के भीतर सिमट जाएगी। 41 साल बाद कोलकाता में विपक्ष का इतना बड़ा जमावड़ा लग रहा है। बीजेपी ने इसे विपक्ष का डर कहा है। साल 1977 में ज्योति बसु ने यहीं से कांग्रेस के खिलाफ बिगुल बजाया था। यह रैली यहां ऐतिहासिक ब्रिगेड परेड मैदान में होगी।खबरों के अनुसार, उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के इस रैली में आने के, जबकि बसपा की ओर से पार्टी के वरिष्ठ नेता सतीश चंद्र मिश्रा के शिरकत करने की संभावना है। रालोद के अजीत सिंह और जयंत चौधरी भी मौजूद रहेंगे। यह पार्टी पश्चिमी उत्तर प्रदेश में एक महत्वपूर्ण राजनीतिक ताकत है। वह भी सपा-बसपा गठबंधन में शामिल होने के लिए बातचीत कर रही है। वहीं, रैली में कांग्रेस का प्रतिनिधित्व पार्टी के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे करेंगे।वही उत्तर प्रदेश में नया चुनावी समीकरण बनाने वाली सपा और बसपा सहित सभी बड़ी विपक्षी पार्टियों की इस रैली में मौजूदगी काफी मायने रखती है। हालांकि, सपा उपाध्यक्ष किरणमय नंदा ने कहा कि यह भाजपा विरोधी रैली है। इसलिए कई विपक्षी दल इसमें भाग ले रहे हैं और हम भी इसका हिस्सा हैं। इसका उत्तर प्रदेश की राजनीति से कोई लेना-देना नहीं है क्योंकि वह बिल्कुल ही एक अलग मोर्चा है।खबरों की माने तो, इस रैली में जिन अन्य नेताओं के शामिल होने की उम्मीद है, उनमें दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, कर्नाटक के मुख्यमंत्री एवं जेडीएस नेता एचडी कुमारस्वामी और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एवं तेदेपा प्रमुख एन चंद्रबाबू नायडू शामिल हैं। इनके अलावा पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवगौड़ा, जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला और उमर अब्दुल्ला के भी शामिल होने की उम्मीद है।कांग्रेस से खड़गे और पार्टी के वरिष्ठ नेता अभिषेक मनु सिंघवी रैली में भाग लेंगे। तृणमूल कांग्रेस प्रमुख एवं पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ-साथ राकांपा प्रमुख शरद पवार, पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा और अरूण शौरी, पाटीदार नेता हार्दिक पटेल, दलित नेता जिग्नेश मेवाणी और झारखंड विकास मोर्चा के बाबूलाल मरांडी भी मंच पर नजर आएंगे। मंगलवार को भाजपा छोड़ने वाले अरुणाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री गेगोंग अपांग भी रैली में शामिल होंगे।
खबरों की माने तो, इस रैली में जिन अन्य नेताओं के शामिल होने की उम्मीद है, उनमें दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, कर्नाटक के मुख्यमंत्री एवं जेडीएस नेता एचडी कुमारस्वामी और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एवं तेदेपा प्रमुख एन चंद्रबाबू नायडू शामिल हैं। इनके अलावा पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवगौड़ा, जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला और उमर अब्दुल्ला के भी शामिल होने की उम्मीद है।
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कांग्रेस से खड़गे और पार्टी के वरिष्ठ नेता अभिषेक मनु सिंघवी रैली में भाग लेंगे। तृणमूल कांग्रेस प्रमुख एवं पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ-साथ राकांपा प्रमुख शरद पवार, पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा और अरूण शौरी, पाटीदार नेता हार्दिक पटेल, दलित नेता जिग्नेश मेवाणी और झारखंड विकास मोर्चा के बाबूलाल मरांडी भी मंच पर नजर आएंगे। मंगलवार को भाजपा छोड़ने वाले अरुणाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री गेगोंग अपांग भी रैली में शामिल होंगे।
The mood is exhilarating at Brigade Parade Grounds. People are determined for #Poriborton at Centre #UnitedIndiaAtBrigade pic.twitter.com/W8WKeycTDH
— All India Trinamool Congress (@AITCofficial) January 19, 2019