Myanmar Earthquake: शुक्रवार का दिन म्यांमार और आसपास के देशों के लिए एक असाधारण और भयावह दिन बन गया। सुबह 11:50 बजे आए 7.7 तीव्रता के भूकंप ने पूरे क्षेत्र में व्यापक तबाही मचा दी, जिसने अनगिनत जीवन को प्रभावित किया और कई परिवारों में शोक और विनाश का माहौल बना दिया। राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र के निदेशक ओपी मिश्रा ने इस भूकंप की विशेषताओं पर प्रकाश डाला, जो सगाइंग फॉल्ट पर आया – एक ऐसा भौगोलिक क्षेत्र जो अत्यधिक भूकंपीय गतिविधियों के लिए जाना जाता है।
Myanmar Earthquake म्यांमार तक सीमित नहीं-
भूकंप के प्रभाव ने केवल म्यांमार तक सीमित नहीं रहे, बल्कि इसने चीन, थाईलैंड, वियतनाम और भारत के विभिन्न हिस्सों में अपनी विनाशकारी शक्ति का एहसास कराया। अमेरिकी भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण (USGS) के अनुसार, भूकंप की गहराई मात्र 10 किलोमीटर थी, जो इसे एक उथला लेकिन अत्यंत खतरनाक भूकंप बनाता है। इस कम गहराई के कारण भूकंप के झटके अधिक विनाशकारी और प्रत्यक्ष हो गए, जिससे क्षेत्र में व्यापक क्षति हुई।
Many buildings were reportedly destroyed in the 7.7 magnitude earthquake in Myanmar.
Video showing people being rescued from the rubles of the collapsed buildings.
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— Sumit (@SumitHansd) March 28, 2025
Myanmar Earthquake म्यांमार की राजधानी-
म्यांमार की राजधानी नैपीदो में सबसे दर्दनाक घटना सामने आई, जहां एक बड़े अस्पताल में 20 से अधिक लोगों ने अपनी जान गंवा दी। इस त्रासदी ने स्वास्थ्य अवसंरचना की भेद्यता को उजागर किया, जहां लोगों को सुरक्षा की उम्मीद करने वाली जगह पर ही मौत ने अपना शिकार बनाया। थाईलैंड की राजधानी बैंकॉक में भी स्थिति भयावह रही, जहां निर्माणाधीन एक ऊंचे भवन के गिरने से कम से कम तीन लोगों की मृत्यु हो गई और 80 से अधिक लोग मलबे में फंसे हुए हैं।
तकनीकी विशेषताएं-
भूकंप की तकनीकी विशेषताएं इसे और भी जटिल बनाती हैं। विशेषज्ञों के अनुसार, भूकंप की गहराई 20-30 किलोमीटर के बीच थी, जो इसे एक उथला लेकिन अत्यंत संवेदनशील भूकंप बनाता है। मुख्य झटके के बाद कई महत्वपूर्ण आए, जिनमें 7 तीव्रता का एक बड़ा झटका, 5 तीव्रता का दूसरा झटका और 4.9 तीव्रता का एक अन्य झटका शामिल था। ये बार-बार आने वाले झटके क्षेत्र में पहले से मौजूद भय और अनिश्चितता को और बढ़ा दिया।
7.7 magnitude earthquake hits Southeast Asia, mainly impacting Myanmar and Thailand.
— Pop Base (@PopBase) March 28, 2025
भौगोलिक कारण-
बैंकॉक में हुई व्यापक क्षति के पीछे एक महत्वपूर्ण भौगोलिक कारण है। शहर का alluvial बेल्ट तरलीकरण (liquefaction) के प्रति अत्यधिक संवेदनशील है। इस प्रक्रिया में भूमि अपनी दृढ़ता खो देती है और भवन कमजोर पड़ जाते हैं, जिससे संरचनाएं आसानी से गिर जाती हैं। यह भौगोलिक विशेषता बैंकॉक को भूकंप के प्रति अत्यधिक असुरक्षित बनाती है।
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन बल-
विशेषज्ञों का अनुमान है कि अगले 24 घंटों में और भी कई आ सकते हैं, जो क्षेत्र में पहले से मौजूद चिंता को और बढ़ा देगा। स्थानीय प्रशासन और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन बल पूरी तरह से सक्रिय हैं। बचाव दल लगातार मलबे में फंसे लोगों को निकालने का प्रयास कर रहे हैं, जबकि स्थानीय समुदाय और अंतरराष्ट्रीय संगठन राहत कार्यों में जुटे हुए हैं।
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संवेदनशीलता और एकजुटता-
यह भूकंप न केवल एक प्राकृतिक आपदा है, बल्कि मानवीय संवेदनशीलता और एकजुटता का एक महत्वपूर्ण परीक्षण भी है। प्रभावित क्षेत्रों में लोग एक-दूसरे की मदद कर रहे हैं, जबकि अंतरराष्ट्रीय समुदाय राहत और पुनर्वास के प्रयासों में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। हालांकि क्षति विशाल है, लेकिन मानवीय साहस और एकजुटता की भावना आशा का संचार कर रही है।
इस समय, हमें प्रभावित लोगों के लिए प्रार्थना करनी चाहिए और जहां संभव हो, उनकी मदद करनी चाहिए। यह एक याद दिलाता है कि प्रकृति के समक्ष मनुष्य कितना नाजुक है और हमें हमेशा प्रकृति के प्रति सम्मान और सावधानी बरतनी चाहिए।
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