सावन का महीना भगवान शिव की भक्तों के लिए सबसे पवित्र समय माना जाता है हर साल की तरह इस वर्ष भी Kanwar Yatra 2025 Guidelines होली का सरकार और धर्म आचार्य दोनों ने मिलकर दिशा निर्देश जारी किए हैं, इस बार कावड़ यात्रा 11 जुलाई 2025 से शुरू हो रही है और लाखों की संख्या में कावड़िया हरिद्वार, गंगोत्री, देवघर जैसे तीर्थ स्थल पर गंगाजल लेकर अपने-अपने शिवालय पहुंचेंगे।
शास्त्रों में बताए गए नियम
शिव पुराण और स्कंद पुराण में स्पष्ट रूप से कावड़ यात्रा के लिए कुछ नियम बताए गए हैं वह नियम यह है की कावड़ को जमीन पर ना रखें ब्रह्मचारी का पालन करते हुए किसी भी प्रकार के मादक पदार्थ से दूर रहते हुए कावड़ ले जाए। यात्रा के दौरान शुद्धता सेवा और सहनशीलता को प्रमुख आदर्श माना गया है। Kanwar Yatra 2025 Guidelines केवल सरकारी रूप से ही नहीं बल्कि धार्मिक रूप से भी पता होना जरूरी है।

सरकार के सख्त निर्देश
इस बार कावड़ यात्रा को लेकर सरकार ने यात्रा को व्यवस्थित और सुरक्षित बनाने के लिए कुछ निर्देश जारी किए हैं।
- अगर कोई व्यक्ति डीजे या स्पीकर की आवाज के साथ कावड़ यात्रा ले जाए तो 75 डेसीबल तक सीमित ध्वनि का उपयोग करेगा बड़े साउंड सिस्टम सिर्फ बाईपास मार्गो से ही जाएंगे।
- कांवड़ियों के रास्ते पर बिना QR कोड वाले खान पान के सामान बेचने वाले दुकान वालों को अनुमति नहीं होगी। कावड़ यात्रा मार्ग में फूड क्वालिटी की जांच अधिकारी तय करेंगे।
- यात्रा पर ड्रोन या सीसीटीवी कैमरा आदि के जरिए निगरानी की जाएगी ताकि किसी भी तरह की अनहोनी ना हो सके।
- यात्रा के दौरान प्लास्टिक पर रोक होगा और कैंप में बाहरी लोगों की एंट्री बंद हो जाएगी।
प्रशासन की तैयारी
मेरठ मुजफ्फरनगर और हरिद्वार जैसे जिलों में पुलिस और प्रशासन ने अपनी तैयारियां काफी तेज कर दी है पांच राज्यों के अधिकारियों ने मिलकर समीक्षा बैठक किया ताकि कांवड़ियों की यात्रा शांतिपूर्ण और अनुशासित तरीकों से संपन्न हो पाए।
Kanwar Yatra 2025 Guidelines प्रशासनिक पहल के रूप में जारी की जाने वाली गाइडलाइंस नहीं है बल्कि एक धार्मिक अनुभव को सुरक्षित रखने के लिए एक माध्यम है जिससे हमारे शास्त्रों की मर्यादा और व्यवस्था इस विशाल यात्रा की बनी रहे।
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