DMRC यमुना पर 5वां पुल बनाने जा रही है, ये काफी खास है क्योंकि ये मेट्रो का पहला ऐसा पुल होगा, जिस केंटिलीवर तरीके से बनाया जा रहा है। DMRC के मुताबिक, मजलिस पार्क मौजपुर पर ये पुल 560 मीटर लंबा होगा। ये पुल सुरघाट और सोन्या विहार को कनेक्ट करेगा। जानकारी के मुताबिक फिलहाल इस पुल के सुपरस्ट्रक्चर का काम चल रहा है। अभी 280 मीटर का मॉड्यूल पूरा होचुका है, दीसरे पर फिलहाल काम चल रहा है।
2025 तक पूरा होने की उम्मीद-
इस पुल को तैयार करने में ब्रिज बिल्डर्स का इस्तेमाल किया जाएगा। इस पुल का काम 2025 तक पूरा होने की उम्मीद जताई जा रही है। सैथ ही DMRC फेज़-4 में तीन नए कॉरिडोर बना रहा है। इन कॉरिडोर में से सबसे छोटा मजलिस पार्क-मौजपुर कॉरिडोर
है। यमुना पर 4 पुल पहले से मौजूद हैं। रेड लाइन पर बना शास्त्री पार्क पुल सबसे पुराना पुल है जिसकी लंबाई 553 मीटर है। इसे 2002 के दिसंबर में खोला गया था।
पहले से मौजूद पुल-
यमुना पर बना सबसे लंबा पुल ब्लू लाइन पर यमुना बैंक पुल है जिसकी लंबाई 698.8 मीटर है। इस पुल को 10 मई 2009 को खोला गया था। दिसंबर 2017 में मजेंटा लाइन पर कालिंदी कुंज में 574 मीटर लंबा पुल है और चौथा पुल 31 दिसंबर 2018 को पिंक लाइन निज़ामुद्दिन में खोला गया था। जिसकी लंबाई 602.8 मीटर है और अब पांचवा पुल पिंक लाइन पर बनाया जाएगा। ये पुल दो पुलों यमुना वज़ीराबाद ब्रिज और सिग्नेचर ब्रिज के बीच में बनेगा।
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कैंटिलीवर कंस्ट्रक्शन मेथड-
ये नया पुल डीएमआरसी के मुताबिक, कैंटिलीवर कंस्ट्रक्शन मेथड का इस्तेमाल करके बनाया जाएगा। यह पहला ऐसा पुल होगा जिसके लिए इस मेथड का इस्तेमाल किया जाएगा। कैंटिलीवर उस स्ट्रक्चर को कहा जाता है, जिसका एक भाग बाहर की ओर किसी भुजा की तरह निकला हुआ होता है। यह भुजा दीवार या घाट से मजबूती से जुड़ी होनी चाहिए। कैंटीलेवर कंस्ट्रक्शन बिना किसी अतिरिक्त सपोर्ट के स्ट्रक्चर को ओवर हैंडलिंग होने देता है।
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