अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा के लिए गृहमंत्रालय ने दो दर्जन NSG के कमांडो की तैनाती का फैसला किया है। यह पहली बार है जब अमरनाथ यात्रा की पहरेदारी की जिम्मेदारी NSG को मिली है। अमरनाथ यात्रा 28 जून से शुरू हो रही है। जानकारी के मुताबिक अमरनाथ यात्रा के दौरान यात्रियों और सुरक्षा बलों के कैंपो पर विदेशी आतंकी बड़े पैमाने पर हमले की साजिश कर रहे हैं।
रिपोर्ट के मुताबिक आतंकी हमले के दौरान सुरक्षा बलों और नागरिकों को बंधक बना सकते हैं। NSG की क्रेक टीम दूर से मार करने वाले स्नाइपर के अलावा वाल पेनिट्रेशन राडार और ग्लोक पिस्टल से लैस है। शीर्ष सुरक्षा अधिकारियों ने गुरुवार को कश्मीर में आगामी वार्षिक अमरनाथ यात्रा के इंतजामों की समीक्षा की। सेना के एक प्रवक्ता ने आज यह जानकारी दी। प्रवक्ता ने बताया कि चिनार कोर के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल एके भट्ट और जम्मू कश्मीर के पुलिस महानिदेशक एस पी वैद्य ने विक्टर फोर्स कमांडर, कश्मीर जोन के पुलिस महानिरीक्षक और सीआरपीएफ के महानिरीक्षक के साथ मिलकर आगामी अमरनाथ यात्रा के सुरक्षा एवं प्रशासनिक इंतजामों की संयुक्त समीक्षा की। इस उच्च स्तरीय संयुक्त दल ने अमरनाथ यात्रा के मार्गों का भी निरीक्षण किया और महत्वपूर्ण स्थानों पर सुरक्षा प्रबंधों का जायजा लिया।
अमरनाथ यात्रा के दौरान बौखलाए आतंकी अपनी मौजूदगी दिखाने के लिए कुछ भी कर सकते हैं। आतंकियों के ऐसे मंसूबों की भनक खुफिया एजेंसियों को बखूबी है। यही कारण है कि इस बार ब्लैक कैट कमांडोज को अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा का जिम्मा सौंपा गया है। बता दे कि अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा में पहले ही सुक्षाबलों की 238 कंपनियां और जम्मू कश्मीर पुलिस का बड़ा दस्ता तैनात है।
सरकार अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा में जरा सी भी ढील की गुंजाइश नहीं छोड़ना चाहती। यही वजह है कि इस बार सुरक्षाबलों की संख्या बढ़ाने के साथ साथ एनएसजी कमांडो को भी यात्रियों की सुरक्षा में तैनात किया गया है। अगर पाकिस्तानी आतंकी सुरक्षा घेरे को तोड़कर हमले में कामयाब हो गए और सरकार से सौदेबाजी के लिए यात्रियों को बंधक बनाने की साजिश रची तो ऐसी साजिश की चिंदियां उड़ाने के लिए एनएसजी कमांडोज बेहद जरूरी हैं।
एनएसजी के साथ साथ सीआरपीएफ की कंपनियां भी यात्रा मार्ग के चप्पे चप्पे पर नजर रखे हुए हैं। बाहर से आई सीआरपीएफ की कंपनियों को कश्मीर के हालात से रूबरू कराने के लिए पहले ही 3 दिनों का क्रैश कोर्स कराया जा चुका है और जवान हर आतंकी हमले से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार हैं।
पिछले साल 10 जुलाई को आतंकियों ने अमरनाथ यात्रा पर निकले भक्तों पर हमला किया था। अमरनाथ यात्रा से लौट रही करीब 50 श्रद्धालुओं से भरी एक बस पर पाकिस्तानी आतंकियों ने अनंतनाग में अंधाधुंध गोलियां बरसा दी। हमले में 7 श्रद्धालुओं की मौत हो गई थी, करीब 20 यात्री जख्मी हो गए थे। खुफिया एजेंसियों को खबर लगी है कि सरहद के इस पार और उस पार, दोनों तरफ आस्था की इस यात्रा के खिलाफ गहरी साजिश रची जा रही है।
दस्तक इंडिया मीडिया समूह समझता है कि सोशल मीडिया के इस जमाने में आपके पास ब्रेकिंग न्यूज के काफी विकल्प हैं। इसलिए हम उनपर फोकस न करते हुए आपके लिए इनसाइड स्टोरी पर ज्यादा जोर देते हैं, क्योंकि वो आपको कोई नहीं बताता। इसके अलावा हम आपको धर्म, लाईफस्टाईल, टेक और ऑटो जैसी कटैगरी की खबरें भी आप तक पहुंचाते हैं।