Haryana Assembly Elections: शनिवार चुनाव आयोग ने हरियाणा के विधानसभा चुनाव की तारीख को बदलने का ऐलान किया है। अब यह चुनाव 1 अक्टूबर के बजाय 5 अक्टूबर को होंगे, जिससे बिश्नोई समुदाय के मताधिकार सम्मान किया जा सके। उनके त्यौहार इसी अवधि में आते हैं। हरियाणा और जम्मू कश्मीर दोनों में चुनाव के लिए मतगणना की तारीख 4 अक्टूबर से संशोधित कर 8 अक्टूबर कर दी गई है। वहीं चुनाव आयोग ने स्वीकार किया है कि बिश्नोई समुदाय ने गुरु जंभेश्वर की स्मृति में अमावस्या उत्सव में भाग लेने की सदियों पुराने प्रार्थना को कायम रखा है।
बिश्नोई महासम्मद-
चुनाव आयोग को राजस्थान के बीकानेर में मौजूद दक्षिण भारतीय बिश्नोई महासम्मद से हरियाणा में मतदान के दिन को पुन: निर्धारित करने के लिए ज्ञापन प्राप्त हुए थे। बिश्नोई समूह ने कहा था कि हरियाणा, पंजाब और राजस्थान के कई परिवार अपने गुरु जंभेश्वर की याद में बीकानेर में अपने वार्षिक उत्सव के लिए अमावस के दौरान राजस्थान में अपने गांव मुकाम जाने की परंपरा का पालन करते आ रहे हैं।
फतेहाबाद और हिसार-
चुनाव आयोग ने कहा कि इस साल यह त्यौहार 2 अक्टूबर को है और सिरसा, फतेहाबाद और हिसार में रहने वाले हजारों परिवार मतदान के दिन राजस्थान जाएंगे। जिससे उन्हें अपना मताधिकार नहीं मिलेगा। चुनाव आयोग ने विभिन्न समुदायों की भावनाओं का सम्मान करते हुए, अक्सर चुनाव की तारीखों में बदलाव किया है। उदाहरण के लिए 2022 में पंजाब विधानसभा चुनाव के दौरान भी चुनाव आयोग में गुरु रविदास जयंती के लिए वाराणसी जाने वाली श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए चुनाव को एक सप्ताह के लिए स्थगित कर दिया था।
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विधानसभा चुनाव की तारिख में रहले भी हुए हैं बदलाव-
इसी तरह मणिपुर में भी साल 2022 में विधानसभा चुनाव के दौरान आयोग ने समुदाय की रविवार की प्रार्थना का सम्मान करने के लिए मतदान की तारीख में बदलाव किया था। इस सब के अलावा साल 2012 में उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव में मतदान की तिथि में बदलाव किया गया था। चुनाव आयोग ने कहा था कि सहयोग से संशोधित दिवस 30 सितंबर को 1 दिन की छुट्टी लेकर 6 दिन की छुट्टी की चिंता को भी दूर कर देगा।
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